असम में हिंसा के मद्देनजर उड़ानें, रेलगाड़ियां रद्द

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नई दिल्ली, 12 दिसम्बर (आईएएनएस)| नागरिकता संशोधन विधेयक (कैब) 2019 के विरोध में असम में व्यापक हिंसा की वजह से कई ट्रेनों व उड़ानों को गुरुवार को रद्द कर दिया गया और इसके साथ ही लंबी दूरी की ट्रेनों को गुवाहाटी तक सीमित कर दिया गया। भारतीय रेलवे के निदेशक (मीडिया) आर.डी.वाजपेयी के अनुसार, कोई भी लंबी दूरी की ट्रेन गुवाहाटी के आगे नहीं जा रही है।

उन्होंने कहा, “इन सभी ट्रेनों को गुवाहाटी तक सीमित किया जा रहा है और ये गुवाहाटी से निर्धारित समय पर अपनी वापसी की यात्रा शुरू करेंगी।”


उन्होंने कहा कि दिल्ली व देश के अन्य भागों से पूर्वोत्तर सीमा की ओर जाने वाली ट्रेने सामान्य रूप से चलेंगी, लेकिन गुवाहाटी से वापस आ जाएंगी।

उन्होंने कहा, “कुछ ट्रेनें जो नार्थ फ्रंटियर रेलवे से नहीं लौट सकतीं, वे दिल्ली व देश के अन्य भागों से रद्द रहेंगी। इनके नामों को संबंधित रेलवे द्वारा अधिसूचित किया जाएगा। अब तक उत्तरी रेलवे ने इस तरह की तीन ट्रेनों को रद्द किया है, जिनके यात्रा शुरू होने की तिथि 15, 16,17 दिसंबर है।”

पूर्वोत्त फ्रंटियर रेलव ने बुधवार को जारी एक बयान में कहा कि कम से कम 30 ट्रेनें रद्द हैं या उन्हें निर्धारित स्टेशन से पहले समाप्त कर दिया गया है।


इसमें डिब्रूगढ़ दिल्ली डीबीआरटी राजधानी एक्सप्रेस को शुक्रवार के लिए रद्द किया गया है और नई दिल्ली डीबीआरटी राजधानी एक्सप्रेस को गुवाहाटी तक सीमित किया गया है और यह गुवाहाटी व डिब्रूगढ़ के बीच रद्द रहेगी।

इस इलाके में उड़ानों को भी रद्द किया गया है।

इंडिगो ने ट्विटर पर जानकारी दी कि उसने असम में मौजूदा स्थिति के कारण गुरुवार को डिब्रूगढ़ से आने व जाने वाली उड़ानों को रद्द कर दिया है।

स्पाइसजेट व गोएयर ने असम में जारी अशांति की वजह से गुवाहाटी व डिब्रूगढ़ से आने व जाने वाली सभी उड़ानों पर 13 दिसंबर तक के लिए रद्द किए जाने का शुल्क माफ करने की पेशकश की है।

विस्तारा ने कहा कि उसने भी गुवाहाटी व डिब्रूगढ़ को आने व जाने वाली उड़ानों को 13 दिसंबर तक के लिए रद्द कर दिया है। ऐसा उसने असम में मौजूदा अशांति के मद्देनजर सरकार की सलाह के अनुसार किया है।

संसद में नागरिकता संशोधन विधेयक (कैब)2019 को पारित किए जाने के बाद पूर्वोत्तर राज्यों में हिंसक विरोध प्रदर्शन की घटनाएं हुईं। इन राज्यों में असम व त्रिपुरा शामिल हैं।

असम में बुधवार को व्यापक हिंसा व प्रदर्शन हुआ। विधेयक को लेकर छात्र राज्य भर में सड़कों पर उतरे। गुवाहाटी में राज्य सरकार ने कानून-व्यवस्था की स्थिति के मद्देनजर अनिश्चितकालीन कर्फ्यू लगा दिया। प्रशासन ने राज्य के 10 जिलों में मोबाइल इंटरनेट सेवाओं पर रोक लगा दी।

स्थिति को काबू में रखने के लिए सेना व अर्धसैनिक बलों की तैनाती की गई है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को असम के लोगों को भरोसा दिया कि उन्हें विधेयक को लेकर चिंता करने की जरूरत नहीं है और वह व उनकी सरकार असमिया लोगों के राजनीतिक, भाषाई, सांस्कृतिक व जमीन संबंधी अधिकारों की संवैधानिक रूप से सुरक्षा को लेकर प्रतिबद्ध हैं।

 

(इस खबर को न्यूज्ड टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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