अयोध्या, 16 नवंबर (आईएएनएस)| अयोध्या में प्रशासन ने नौ नवंबर को पारित राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद जमीन विवाद मुकदमे में अंतिम फैसले के बाद अधिग्रहित भूमि के नए सीमांकन की प्रक्रिया की तैयारी शुरू कर दी है।
जनवरी 1993 में केंद्र सरकार ने अयोध्या अधिनियम 1993 के माध्यम से 67.7 एकड़ भूमि का कुछ क्षेत्र में अधिग्रहण किया था।
अधिग्रहित जमीन में फैजाबाद तहसील के कोट रामचंदर, जलवानपुर और अवध खास शामिल हैं। अधिग्रहण अधिनियम 1993 की धारा 3 के अनुसार, अधिग्रहित भूमि का टाइटल और इंट्रस्ट केंद्र सरकार के पास है। अधिग्रहित जमीन में कई रिहायशी घर, कृषि जमीन, हिंदू मंदिर और मुस्लिम कब्रिस्तान शामिल हैं।
सूत्रों के अनुसार, राम मंदिर के लिए ट्रस्ट के औपचारिक गठन से पहले जमीन की स्थिति स्पष्ट की जानी है। इसलिए स्थानीय प्रशासन को भूमि मापने के लिए कहा गया है।