नई दिल्ली, 3 अक्टूबर (आईएएनएस)। केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा है कि भारत को कच्चे माल के निर्यात से आगे बढ़कर दुनिया को उच्च गुणवत्ता वाले उत्पादों की आपूर्ति करने के लिए अपनी विनिर्माण क्षमताओं में सुधार करना होगा।
उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत प्रभावी रूप से भारतीय क्षमताओं, गुणवत्ता, अच्छी विनिर्माण प्रथाओं को लागू करने, मानकों को बेहतर बनाने के साथ-साथ उन मानकों को बेहतर बनाने के बारे में है, जिनकी भारतीयों को देश में उम्मीद है।
गोयल ने अपने ट्विटर हैंडल पर पोस्ट किए गए एक वीडियो में कहा कि भारत को उन क्षेत्रों की पहचान करनी होगी, जिनमें वह उत्कृष्टता हासिल कर सकता है और एक प्रमुख वैश्विक आपूर्तिकर्ता बन सकता है।
मंत्री ने कच्चे माल की तुलना में तैयार उत्पादों के अधिक निर्यात पर अपनी चिंता को स्पष्ट करते हुए उन्होंने कहा कि चीन का इस्पात का उत्पादन भारत की तुलना में अधिक है और यह भारत से लौह अयस्क का आयात करता है, हालांकि इसके अपने भंडार हैं।
उन्होंने कहा, “भारत 10 करोड़ टन स्टील, चीन 80 करोड़ टन स्टील पर हैं और फिर भी मुझे लगता है कि हम दूसरे सबसे बड़े एजेंट हैं। इस अंतर को देखें और हम चीन को लौह अयस्क का निर्यात कर रहे हैं।”
मंत्री ने कहा, “मुझे बताया गया है कि चीन में लौह अयस्क हैं, लेकिन वे इसे संरक्षित कर रहे हैं। क्या हम कुछ स्मार्ट विकल्पों के बारे में सोच सकते हैं?”
उन्होंने यह भी कहा कि भारत आपूर्ति के मामले में दुनिया को एक “सच्ची साझेदारी” प्रदान कर सकता है और वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला को अधिक लचीला बना सकता है।
–आईएएनएस
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