आइजॉल, 19 जनवरी (आईएएनएस)| मिजोरम सरकार ने केंद्र सरकार से गुजारिश की है कि वह राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के दायरे में राज्य के 12 लाख की जनसंख्या में से कम से कम 80 फीसदी आबादी को लाए, जिसमें फिलहाल 64.73 फीसदी लोग शामिल है। एक अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी।
राज्य के खाद्य, नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के विभाग के एक अधिकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री जोरमथांगा ने शुक्रवार को नई दिल्ली के कृषि भवन में केंद्रीय उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री रामविलास पासवान से मुलाकात कर यह मांग की।
अधिकारी ने मुख्यमंत्री के हवाले से कहा, “मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री से कहा कि राज्य में एनएफएसए को अमल में लाने के बाद लाभार्थियों को दिए जानेवाले अनाज के आवंटन में कमी आई है, इसलिए इस कमी को पूरा करने के लिए राज्य सरकार को खुले बाजार से अनाजों की खरीद करनी पड़ रही है।”
केंद्रीय मंत्री ने मुख्यमंत्री से कहा कि राष्ट्रीय प्रतिदर्श सर्वेक्षण कार्यालय (एनएसएसओ) के अध्ययन के आधार पर ही अनाजों के वितरण का प्रतिशत निर्धारित किया है और इसे पूरे देश में एक समान रूप में लागू किया जाता है।
पासवान ने यह भी कहा कि अनाजों के आवंटन की नीति आयोग द्वारा एनएसएसओ के नए सर्वेक्षण के आधार पर समीक्षा की जा रही है और मिजोरम के लिए अपवाद बनाना संभव नहीं है।
अधिकारी के मुताबिक, एनएफएसए को मिजोरम में साल 2016 के मार्च में लागू किया गया है, जिसके दायरे में कुल 7,06,296 लोग हैं, जबकि राज्य की जनसंख्या 12 लाख है। इस योजना के तहत वर्तमान में कुल 1,46,876 परिवारों के 6,62,440 लोगों को लाया गया है।
मिजोरम में कुल 2,67,606 राशन कार्ड धारी हैं, जिनमें से 1,46,876 को एनएफएसए के दायरे में लाया गया है।