मोदी सरकार को पूर्ण बजट पेश करने का अधिकार नहीं : कांग्रेस

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 नई दिल्ली, 24 जनवरी (आईएएनएस)| कांग्रेस ने मोदी सरकार को लेखानुदान (वोट ऑन अकाउंट) की जगह पूर्ण बजट पेश की सूरत में संसद के भीतर और बाहर भारी विरोध-प्रदर्शन की चेतावनी दी है।

 पार्टी ने गुरुवार को कहा कि इससे संवैधानिक औचित्य और संसदीय परंपरा का उल्लंघन होगा।


मोदी सरकार के कथित प्रस्ताव पर सवाल उठाते हुए कांग्रेस प्रवक्ता मनीष तिवारी ने कहा कि सरकार का कार्यकाल जब वित्त विर्ष 2019-20 के आरंभ होने से 56 दिनों के भीतर समाप्त हो रहा है तो फिर सरकार कैसे 365 दिनों का बजट पेश कर सकती है।

तिवारी ने यहां मीडिया से बातचीत में कहा, “अगर राजग-भाजपा सरकार पूर्ण बजट पेश करेगी तो वह सात दशकों से चली आ रही संसदीय परंपराओं और मानकों का खुल्लम-खुल्ला उल्लंघन होगा।”

उन्होंने कहा, ” मोदी सरकार के पास पांच साल में छठा पूर्ण बजट पेश करने का न तो जनादेश है और न ही निर्वाचन संबंधी वैधता।”


मौजूदा सरकार का कार्यकाल 26 मई को समाप्त होने का जिक्र करते हुए तिवारी ने कहा, “सरकार 365 दिनों का बजट करने की रेखा कहां से खींच रही है।”

उन्होंने कहा, “पिछले पांच साल के आर्थिक कुप्रबंधन को छिपाने के लिए यह संवैधानिक औचित्य और संसदीय प्रक्रिया व परंपराओं का पूर्ण रूपेण उल्लंघन करने को सोच रही है।”

तिवारी ने कहा कि कांग्रेस इसका संसद के भीतर और बाहर जोरदार विरोध करेगी।

(इस खबर को न्यूज्ड टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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