मुंबई : मेडिकल छात्रा ने  रैगिंग से परेशान होकर दी जान, जांच में जुटी पुलिस

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रैगिंग कानूनी तौर पर बैन है लेकिन अभी भी कई छात्रों को इसका सामना करना पड़ता है जो मानसिक तनाव के कारण आत्महत्या करने तक पर मजबूर हो जाते हैं। हाल ही में महाराष्‍ट्र से एक दिल दहलाने वाली घटना सामने आई है। यहां के एक सरकारी अस्‍पताल में पढ़ाई करने वाली छात्रा ने कथित तौर पर रैगिंग और मानसिक प्रताड़ना से तंग आकर खुदकुशी कर ली है। छात्रा ने फांसी लगाकर जान दे दी। छात्रा की पहचान डॉक्‍टर पायल तडवी के तौर पर की गई है। खबरों के अनुसार छात्रा के परिजनों ने अस्‍पताल के डीन, पुलिस और यहां तक की राज्‍यमंत्री से भी इस बाबत गुहार लगाई थी। इन्‍हें लिखित में शिकायत दी गई थी, लेकिन किसी ने रैगिंग रोकने को लेकर कदम नहीं उठाया।

क्या है पूरा मामला

खबरों के मुताबिक, छात्रा की आत्‍महत्‍या से जुड़ी यह घटना मुंबई के सरकारी अस्‍पताल बीवाईएल नायर हॉस्पिटल की है। छात्रा के माता-पिता की शिकायत पर मुंबई पुलिस ने तीन सीनियर डॉक्‍टर्स के खिलाफ मामला दर्ज किया है। परिजनों का आरोप है कि आरोपी डॉक्‍टर्स उनकी बेटी का मानसिक उत्‍पीड़न के साथ ही जातीय टिप्‍पणी भी करते थे। सीनियर्स के इस व्‍यवहार से पायल बेहद परेशान रहती थी।


आपको बता दें कि डॉक्‍टर पायल तडवी बीवाईएल नायर हॉस्पिटल से एमडी की पढ़ाई कर रही थीं। उनका दूसरा साल चल रहा था। मीडिया रिपोर्ट में महाराष्‍ट्र एसोसिएशन ऑफ रेजिडेंट डॉक्‍टर्स के एक सदस्‍य का हवाला देते हुए कहा गया है कि डॉ. पायल ने खुदकुशी करने से तकरीबन 4 घंटे पहले तीन सर्जरी की थी। उन्‍होंने बताया कि उस वक्‍त वह बिल्‍कुल भी तनाव में नहीं थीं। सर्जरी करने के कुछ घंटों के बाद ही उनके कमरे से उनका शव बरामद किया गया।

मामले में अभी तस्वीर साफ होनी बाकी है, लेकिन इतना तय है कि दूसरों को जीवन देने वाले एक होनहार डॉक्टर ने अपना जीवन खत्म कर लिया।


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