”मृत्यु का भय नहीं होता, बीमारी का भय होता है। जब हम देखते हैं कि लोग लाचार हो जाते हैं बीमारी की वजह से और दूसरों पर निर्भर हो जाते हैं। उससे डर लगता है। मृत्यु से डर नहीं लगता। मृत्यु का तो आपको पता भी नहीं चलेगा। सोए-सोए चल देंगे। आपको पता चलेगा कि ओम पुरी का कल सुबह 7 बजकर 22 मिनट पर निधन हो गया।”
ये कहना था बॉलीवुड के लीजेंड अभिनेताओं में से एक ओम पुरी का। ये बात उन्होंने एक इंटरव्यू में कही थी। मौत को लेकर ओम पुरी के विचार बेहद खुले थे उन्हें मौत से डर नहीं लगता था। लोग तब हैरान रह गए थे जब उनके कहे के अनुसार शुक्रवार 6 जनवरी 2017 को सुबह अचानक उनकी मृत्यु की खबर आई। 66 साल की उम्र में उनका निधन हार्ट अटैक की वजह से हुआ था।
ओम पुरी का जन्म 18 अक्टूबर 1950 को पटियाला के पंजाबी परिवार में हुआ था। इनका पूरा नाम ओम राजेश पुरी था। ओम पुरी के पिता भारतीय रेलवे में काम करते थे। ओम पुरी ने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत मराठी फिल्म घासीराम कोतवाल की थी।
वर्ष 1983 की फिल्म अर्ध सत्य से लोग उन्हे पहचानने लगे थे। इस फिल्म के लिए इन्हें नेशनल अवार्ड भी मिला था। 1988 में ओम पुरी ने दूरदर्शन की मशहूर टीवी सीरीज ‘भारत एक खोज’ में कई भूमिकाएं निभायी जिसे दर्शकों ने काफी पसंद किया। ओम पूरी को अभिनय का जुनून बचपन से ही था लेकिन नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा में इन्होंने अभिनय की बारीकियां सीखीं।
एक बार मशहूर कलाकार नसीरुद्दीन शाह ने बताया था कि “एफटीआईआई में ट्रेनिंग के दौरान एक फिल्म में उन्हें, ओम पुरी और शबाना आजमी को कास्ट किया जाना था लेकिन उनकी तस्वीर देखने के बाद शबाना आजमी ने उनके साथ काम करने से इनकार कर दिया था। शबाना का कहना था कि उन्हें ओम पुरी और नसीरुद्दीन शाह की शक्ल पसंद नहीं आई।” बाद में आगे चल कर इन तीनों कलाकारों ने बाद में एक साथ कई बेहतरीन फिल्मों में काम किया।
जब 2009 में ओम पुरी की दूसरी पत्नी नंदिता पुरी की लिखी उनकी जीवनी ‘अनलाइकली हीरो : द स्टोरी ऑफ ओम पुरी’ छपी थी तो उसने ओम पुरी के निजी जीवन में बेहद प्रभावित कर दिया था। इसमें लिखा गया था कि ओम पुरी के कई महिलाओं के साथ संबंध थे। इसके बाद ओम पुरी ने कहा था कि नंदिता ने ये बातें जगजाहिर कर उनके चाहने वालों के बीच उनकी छवि को गिरा दिया है।