पटना | नियमित शिक्षकों के समान वेतनमान लागू करने सहित सात सूत्री मांगों के समर्थन में बिहार राज्य शिक्षक संघर्ष समन्वय समिति के बैनर तले गुरुवार को विधानसभा का घेराव करने निकले नियोजित शिक्षकों पर पुलिस ने जमकर लाठियां चलाईं।
पुलिस के अनुसार, पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार राज्य भर के नियोजित शिक्षक गुरुवार को विधानसभा घेराव करने पटना पहुंचे। सभी प्रदर्शनकारी शिक्षक गर्दनीबाग स्थित धरनास्थल से विधानसभा घेराव करने निकले थे कि सभी को पुलिस ने महिला थाने के पास रोक दिया।
नियोजित शिक्षकों को पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद प्रदर्शनकारी बैरिकेडिंग तोड़ कर आगे बढ़ने की कोशिश करने लगे। इसके बाद पुलिस ने नियोजित शिक्षकों को रोकने के लिए वाटर कैनन का इस्तेमाल किया। आरोप है कि इस बीच दोनों ओर से पत्थरबाजी हुई। वाटर कैनन के इस्तेमाल के बाद अफरा-तफरी की स्थिति उत्पन्न हो गई, लेकिन नियोजित शिक्षक डटे रहे।
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प्रदर्शनकारी शिक्षकों को हटाने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे और फिर लाठियां चलाई। इस दौरान दोनों ओर से कई लोग घायल हो गए।
इस आंदोलन में प्राथमिक शिक्षक संघ, प्राथमिक शिक्षक संघ गोपगुट, अराजपत्रित शिक्षक संघ, बिहार राज्य प्रारंभिक शिक्षक संघ, बिहार राज्य पंचायत नगर प्रारंभिक शिक्षक संघ सहित कुल 18 शिक्षक संघ बिहार राज्य शिक्षक संघर्ष समन्वय समिति के बैनर तले शामिल हुए थे।
प्रदर्शनकारी शिक्षकों ने कहा कि वे इस पुरानी मांग को लेकर शिक्षक कई बार सड़कों पर उतर चुके हैं। उन्होंने कहा कि शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे शिक्षकों पर बर्बरतापूर्ण लाठियां चलाई जा रही है।
इधर, नियोजित शिक्षकों के आंदोलन को लेकर शिक्षामंत्री कृष्ण नंदन प्रसाद वर्मा ने कहा है कि नियोजित शिक्षकों को आंदोलन से पहले बात कर समस्या का समाधान निकालना चाहिए था। उन्होंने कहा कि इससे पहले शिक्षकों को सरकार के सामने अपनी पूरी बात रखनी चाहिए थी।
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