नई दिल्ली, 13 जनवरी (आईएएनएस)| जन कल्याण पार्टी के प्रमुख पवन कल्याण ने सोमवार को भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा से दिल्ली स्थित उनके आवास पर मुलाकात की। माना जा रहा है कि आंध्र प्रदेश की नई राजधानी अमरावती को लेकर चल रही कश्मकश में कल्याण ने केंद्र सरकार के हस्तक्षेप का अनुरोध किया है।
इस दौरान नड्डा के अलावा भाजपा महासचिव (संगठन) बी.एल. संतोष और पार्टी के युवा सांसद तेजस्वी सूर्य भी मौजूद रहे।
यह बैठक कल्याण के अमरावती पर प्रचलित भ्रम के खिलाफ बोलने के कई दिनों बाद हुई है।
कल्याण ने शुक्रवार को कहा था, “भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार को तीन राजधानियों के प्रस्ताव और अमरावती के किसानों के सामने आने वाली समस्याओं पर एक सर्वदलीय बैठक आयोजित करनी चाहिए।”
अपनी मांग को विस्तृत तरीके से बताते हुए उन्होंने कहा था, “भाजपा ने आंध्र प्रदेश के विभाजन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी और वे विभाजन के बाद बनी पहली सरकार में भागीदार थे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी अमरावती के स्थापना समारोह के लिए आए थे। उन्हें अमरावती के किसानों के समर्थन में खड़े होने और समस्या का हल खोजने में उनकी मदद करनी चाहिए।”
आंध्र प्रदेश सरकार की ओर से राजधानी को अमरावती से स्थानांतरित करने के प्रस्ताव का विरोध करते हुए अमरावती के किसानों ने बड़े पैमाने पर आंदोलन छेड़ दिया है।
दिलचस्प बात यह है कि कल्याण की भाजपा के साथ बैठक ऐसे समय में हुई है, जब भाजपा आंध्र की राजनीति में सक्रिय रूप से प्रवेश करने की कोशिश कर रही है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) का हालिया कार्यक्रम भी आंध्र प्रदेश में ही आयोजित किया गया था। वहीं विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के एक सम्मेलन में भी राज्य को निशाना बनाते हुए उस पर कथित रूप से हिंदू विरोधी होने का आरोप लगाया गया।
इससे पहले आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री ने संकेत दिया था कि राज्य में दक्षिण अफ्रीका की तरह तीन राजधानियां हो सकती हैं।