उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस से जंग में जुटी योगी आदित्यनाथ की सरकार में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के विधायक ही कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए आवश्यक उपकरणों की खरीद में गड़बड़ी का आरोप लगा रहे हैं। यूपी के हरदोई में गोपामऊ से बीजेपी विधायक श्याम प्रकाश ने कोरोना फंड में उपकरण की खरीद के लिए कोरोना फंड में विधायक निधि से 25 लाख रुपया दान किया था। अब उन्होंने स्वास्थ्य विभाग में भ्रष्टाचार का आरोप लगाकर हरदोई के मुख्य विकास अधिकारी को पत्र लिखा है और इन पैसों को वापस मांगा है।
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हरदोई जिला प्रशासन को लिखे इस पत्र में विधायक ने कहा है कि उनके दिए गए पैसों का सही इस्तेमाल नहीं हो रहा है, जिसके चलते उनकी विधायक निधि का पैसा वापस किया जाए। बार-बार कहने पर भी प्रशासन ने अभी तक खर्च किए गए पैसों का कोई हिसाब भी नहीं दिया है। ऐसे में उनकी पूर्व में निर्गत की विधायक निधि की राशि को तत्काल वापस खाते में भेजा जाए ताकि इसका इस्तेमाल जनहित के अन्य कार्यों में किया जा सके। बता दें कि बीजेपी विधायक श्याम प्रकाश अपनी कार्यशैली के कारण अक्सर सुर्खियों में रहते हैं।
विधायक के पत्र पर सीडीओ ने पीडी से मांगी जानकारी
विधायक के पत्र पर मुख्य विकास अधिकारी निधि गुप्ता ने बताया कि सोमवार को उनका पत्र मिला है। परियोजना निदेशक से जानकारी ली जा रही है कि जो धनराशि जारी हुई थी, उससे सामग्री खरीद हुई या नहीं। अगर खरीद नहीं हुई होगी तो धनराशि वापस होगी। खरीद हो जाने की दशा में 60 फीसद में करीब 18 लाख की वापसी नहीं हो पाएगी।
डीएम पुलकित खरे ने बताया कि, इस संबंध में उनकी सीडीओ निधि गुप्ता से बात हुई। उन्होंने बताया कि सैनिटाइजर और मास्क की बाजार में खासी किल्लत है। जेल से प्रतिदिन बनने वाले 800 मास्क और एक स्वयं सेवी संस्था के द्वारा प्रतिदिन 1000 मास्क बनाए जाते हैं। इसके अलावा हरियावां शुगर मिल से सैनिटाइजर की खरीद की जा रही है। लेकिन सामान पर्याप्त मात्रा में न मिल पाने की वजह से अभी तक इस निधि से कोई खरीदारी नहीं की जा सकी है।
जौनपुर में बीजेपी एमएलसी समेत 5 विधायकों ने वापस ली थी निधि
इससे पहले जौनपुर में बीजेपी के एमएलसी सहित चार विधायकों व बसपा की एक विधायक ने सीडीओ को पत्र लिखकर निधि की धनराशि का उपयोग करने से रोक दिया था। इनमें सदर विधायक गिरीश चंद्र यादव व एमएलसी बृजेश सिंह प्रिंसू ने सीएमएस व जिला अस्पताल को निधि का पैसा आवंटित किया था, जबकि शेष आठ विधायकों ने अपने विधानसभा क्षेत्रों में सीएचसी पर उपकरण के लिए सीएमओ को राशि दी थी। वहीं, कोरोना संकट को देखते हुए सरकार ने विधायक निधि के साथ ही विधायकों के वेतन में 30 फीसदी कटौती का फरमान जारी किया था। इस आदेश के बाद पांच जनप्रतिनिधियों ने सीडीओ को पत्र भेजकर विधायक निधि से धनराशि खर्च नहीं करने की बात कही थी।