नई दिल्ली, 19 फरवरी (आईएएनएस)। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को राष्ट्रीय कंपनी कानून अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) के तीन मौजूदा सदस्यों के खिलाफ कार्यवाहक अध्यक्ष न्यायमूर्ति बंसीलाल भट की अध्यक्षता वाली पीठ की टिप्पणी हटा दी।
न्यायमूर्ति बी. आर. गवई के साथ आर. एफ. नरीमन की अध्यक्षता वाली पीठ ने तीन एनसीएलएटी सदस्यों द्वारा दायर याचिका पर आदेश पारित किया।
पीठ ने याचिकाकर्ताओं न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) जरात कुमार जैन, बलविंदर सिंह और विजय प्रताप सिंह को राहत दी, जो उस पीठ का हिस्सा थे, जिसने मामले को अपीली न्यायाधिकरण के कार्यवाहक अध्यक्ष के नेतृत्व वाली पांच सदस्यीय पीठ को भेजा था। पीठ ने कहा, हम आपके साथ हैं।
शीर्ष अदालत ने याचिकाकर्ताओं का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील से पूछा कि क्या सीधे टिप्पणी को समाप्त करना चाहिए? जैसा ही वकील ने इसके लिए हां कही, पीठ ने तुरंत पांच सदस्यीय पीठ द्वारा की गई प्रतिकूल टिप्पणी को समाप्त करने का आदेश दिया।
तीन याचिकाकर्ताओं ने पांच सदस्यीय पीठ द्वारा की गई टिप्पणी को हटाने का अनुरोध किया था और कहा था कि उन्होंने कानून में इस स्थिति को केवल स्वीकार किया था कि इस मुद्दे पर पहले के फैसले पर विचार करने के लिए बड़ी पीठ सक्षम है।
–आईएएनएस
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