बिहार: सड़कों पर दिन काटने को मजबूर हैं बाढ़ पीड़ित, पशुओं को लेकर परेशान

Follow न्यूज्ड On  

मुजफ्फरपुर। बिहार में नेपाल से आने वाली नदियों में बाढ़ और भारी बारिश से बाढ़ प्रभावित लोगों का दिल बैठा जा रहा है। बाढ़ पीड़ित ऊंची सड़कों पर बने राहत शिविरों में दिन काट रहे हैं।

उन्हें सामुदायिक रसोई का खाना तो मिल रहा है, लेकिन यह चिंता सता रही है कि बाढ़ का पानी 10 दिन रहा तो गांव में उनके मिट्टी के घर कहीं भरभरा कर गिर न जाएं। कई क्षेत्रों में बाढ़ पीड़ित जिला प्रशासन की मुनादी के बाद घर-बार छोड़कर राहत शिविर तो पहुंच चुके हैं, मगर कई गांवों में लोग अभी भी बने हुए हैं। उन्हें अपनी गृहस्थी बचाए रखने से ज्यादा अपने पालतू जानवरों की चिंता भी खाए जा रही है। उनके पशुओं को चारा उपलब्ध नहीं हो पा रहा है।

मुजफ्फरपुर-पटना राष्ट्रीय राजमार्ग पर डिवाइडर पर तनी तिरपाल और पोलीथिन और वहां रह रहे बच्चे-बुजुर्ग व महिलाएं अपना दिन गिन-गिनकर काट रहे हैं। गांव में जब बाढ़ आई तो यह सड़क उनकी शरणस्थली बन गई है।

बाढ़ की आफत से यहां पहुंचे लोगों की चिंता यह भी है कि मिट्टी के बने उनके घरों में करीब एक हफ्ते से पानी जमा है। जलमग्न हो चुके गांव मिठनसराय गांव की रहने वाली मानमती देवी सड़क पर रह रही हैं। वह कहती हैं, “हमर घर-गृहस्थी बरबाद हो गेल। अब हम का करब।”

उनका दर्द है, वह पूरा अनाज घर पर छोड़कर आई हैं। खून-पसीने से जिस घर को बनाया, आज उससे दूर हैं। इसी तरह का दर्द लिए सैकड़ों लोग यहां शरण लिए हैं, जिन्हें गांव व घर की चिंता सता रही है।

कई लोग गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश करने के बाद कुछ बर्तन, कपड़े और खाने की कुछ ही सामग्री लेकर भाग सके थे। अब इन्हें चिंता लौटकर जाने के बाद की है। उनका कहना है कि जब गांव से बाढ़ का पानी उतरेगा और घर गांव लौटेंगे तब क्या होगा।

बागमती, बूढ़ी गंडक, लखनदेई नदियों के जलस्तर बढ़ने से मुजफ्फरपुर जिले के बाढ़ से लोग बुरी तरह परेशान हैं। बूढ़ी गंडक के भयावह रूप से शहरी क्षेत्र के अहियापुर समेत कांटी प्रखंड के गांव-मोहल्लों की स्थिति काफी खराब है। बड़ी आबादी घर छोड़ विजयी छपरा बांध या सड़क पर प्लास्टिक तानकर रह रहे हैं।

कांटी प्रखंड के कोल्हुआ पैगंबरपुर क्षेत्र के करीब सभी घर बाढ़ की पानी में डूब गए हैं। इस गांव के लोग भी पास के सड़क पर शरण ले चुके हैं। इन्हें भी अपने घरों की चिंता है। वे कहते हैं कि “घर बच जाएगा तो मरम्मत हम कर लेंगे, लेकिन पानी में बह गया तो दोबारा कैसे बनाएंगे।”

सड़क पर आसरा लिए कन्हैया राम कहते हैं कि उनका गांव तो पूरी तरह डूब चुका है। अब घरों के छप्पर मात्र दखाई दे रहे हैं। दूर से ये बाढ़ पीड़ित उन छप्परों को निहाराकर अपने-अपनों घरों के सुरक्षित रहने की संभावना जता ले रहे हैं। एक पीड़ित कहता हैं, “अभी तक हमलोगों के घर गिरे नहीं है, लेकिन बारिश नहीं रुकी तो जो घर बचे हुए हैं उन पर भी खतरा है।”

बाढ़ पीड़ित कहते हैं कि सरकार छह हजार रुपये तो भेज रही है, लेकिन कई लोगों के बैंक में खाता ही नहीं है। श्यामू राम कहते हैं, “मेरा तो बैंक में खाता ही नहीं है। मुझे अनुदान कैसे मिलेगा।”

सबसे ज्यादा परेशानी गांव के लोगों को पशुओ के चारे को लेकर है। औराई प्रखंड के रतवारा गांव के रहने वाली सुनील मंडल की पत्नी उड़िया देवी अपने पशुओं का चारा काटकर आ रही है। वे कहती हैं, “अखनियो केतेको घर-दूरा पानि छिते छै। घर अंगना सं ल’ क’ खेत पथार तक डूबि गेलै। अप्पन पेट त भरिये जाइय’, निमुधन के केना भुखले छोड़ि दियै।”

मुजफ्फरपुर के नौ प्रखंड के 79 पंचायतों की लगभग चार लाख की आबादी बाढ़ से प्रभावित है। मुजफ्फरपुर के जिलाधिकारी आलोक रंजन घोष कहते हैं कि 42 सामुदायिक रसोई चलाए जा रहे हैं, जबकि 1500 से ज्यादा लोग राहत शिाविरों में रह रहे हैं। उन्होंने कहा कि पशुओं के लिए चारा की भी व्यवस्था की गई है।

This post was last modified on July 27, 2019 9:56 AM

Share

Recent Posts

जीआईटीएम गुरुग्राम ने उत्तर भारत में शीर्ष प्लेसमेंट अवार्ड अपने नाम किया

नवीन शिक्षण पद्धतियों, अत्याधुनिक उद्यम व कौशल पाठ्यक्रम के माध्यम से, संस्थान ने अनगिनत छात्रों…

March 19, 2024

बिहार के नींव डालने वाले महापुरुषों के विचारों पर चल कर पुनर्स्थापित होगा मगध साम्राज्य।

इतिहासकार प्रोफ़ेसर इम्तियाज़ अहमद ने बिहार के इतिहास पर रौशनी डालते हुए बताया कि बिहार…

March 12, 2024

BPSC : शिक्षक भर्ती का आवेदन अब 19 तक, बिहार लोक सेवा आयोग ने 22 तक का दिया विकल्प

अब आवेदन की तारीख 15 जुलाई से 19 जुलाई तक बढ़ा दी गई है।

July 17, 2023

जियो ने दिल्ली के बाद नोएडा, गाजियाबाद, गुरुग्राम और फरीदाबाद में ट्रू5जी सर्विस शुरु की

पूरे दिल्ली-NCR में सर्विस शुरु करने वाला पहला ऑपरेटर बना

November 18, 2022

KBC 14: भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान कौन थे, जिन्होंने इंग्लैंड में भारत को अंतिम बार एक टेस्ट सीरीज जिताया था?

राहुल द्रविड़ की अगुवाई में टीम इंडिया ने 1-0 से 2007 में सीरीज़ अपने नाम…

September 23, 2022