इंदौर में अपराध रोकने में पुलिस का मददगार बनेगा एप

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इंदौर, 11 अगस्त (आईएएनएस)| अपराध और अपराधियों पर अंकुश लागने के लिए मध्य प्रदेश पुलिस ने आधुनिक तकनीक का सहारा लिया है। इंदौर में स्मार्ट पुलिसिंग के लिए तीन एप तैयार किए गए हैं, इनमें से सीटीएपी एप (क्रिमिनल ट्रेकिग एंड प्लॉटिग एप) ऐसा एप है जो अपराध रोकने और अपराधी तक पहुंचने में मददगार बनेगा। इंदौर पुलिस द्वारा हिस्ट्रीशीटरों की पहचान सुनिश्चित करने, अपराधियों की गतिविधियों पर कड़ी नजर रखने एवं उन पर अंकुश लगाने के मकसद से सीटीएपी एप तैयार किया है।

इंदौर परिक्षेत्र के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजी) वरुण कपूर ने एप की जानकारी देते हुए बताया, “यह एप अपराधियों की ट्रेकिग एवं उनके क्षेत्र की पहचान सुनिश्चित कर, उनकी आपराधिक गतिविधियों पर कड़ी नजर रखकर उन पर रोकथाम लगाने के लिये बनाया गया है। इसमें इंदौर पुलिस द्वारा पिछले कई वषरे के चेन स्नैचरों, चोरों, नकाबजनों, मोबाइल चोरों व अन्य हिस्ट्रीशीटरों का डाटा फीड किया गया है।”

उन्होंने बताया कि, पुलिस अधिकारीगण किसी भी अपराधी एवं संदिग्ध के पकड़े जाने पर उसकी जानकारी इस एप में जैसे ही डालेंगे, वैसे ही इसमें पहले से फीड डाटा से मिलान होने लगेगा और उस अपराधी की संपूर्ण जानकारी मिल जाएगी। यदि उसका पूर्व का डाटा नहीं भी होगा तो उसमें पुलिस अधिकारी द्वारा वर्तमान में डाला गया ब्यौरा उस अपराधी के क्षेत्र व किए गए अपराध सहित अन्य जानकारी ऐप में जुड़ जाएगी। इस ऐप के माध्यम से पुलिस को अपराधियों द्वारा किए जा रहे अपराधों के तरीकों एवं उनके अपराध क्षेत्रों की पहचान आसानी से पता लग जाएगी।

बताया गया है कि, पुलिस ने कुल तीन एप तैयार किए हैं। सीटीएपी एप से ‘सोशल कॉप’ और ‘इंदौर पुलिस’ एप को भी जोड़ा गया है। सोशल कॉप एप यातायात व्यवस्था को और बेहतर बनाने तथा यातायात नियमों के प्रति जागरूकता लाने के लिए तैयार किया गया है। साथ ही इंदौर पुलिस एप में पेंडिग अपराधों, शिकायतों, प्रतिबंधात्मक कार्रवाई, जेल से रिहा होने वाले हिस्ट्रीशीटरों, संदिग्धों एवं अपराधियों की जानकारी रहेगी। इस एप के माध्यम से पुलिस अपराधों की रोकथाम की दिशा में और बेहतर तरीके से कार्य कर सकेगी।

इंदौर पुलिस के स्मार्ट पुलिसिंग के लिए किए गए इन नवाचारों की शनिवार को पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) विजय कुमार सिह ने शुरुआत करते हुए कहा, “सीटीएपी एप अपराध नियत्रंण में अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। इस एप की मदद से हिस्ट्रीशीटरोंएवं संदिग्धों की पहचान सुनिश्चित कर अपराधों पर अंकुश लगाया जा सकेगा। साथ ही इन एप से बेहतर पुलिसिग भी की जा सकेगी।”

 

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