लखनऊ, 8 मई (आईएएनएस)। योगी आदित्यनाथ की सरकार ने राज्य में तीन साल तक के लिए कई श्रम कानूनों को निलंबित करते हुए अध्यादेश को अंतिम रूप दे दिया है।
यह राज्य में मौजूदा और नई औद्योगिक इकाइयों को मदद करने का एक प्रयास है।
श्रम कानूनों के सम्बंध में सुझावों को मंत्रियों के एक समूह द्वारा किया गया, जिसमें श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य और एमएसएमई मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह भी मौजूद थे।
राज्य मंत्रिमंडल ने राज्य में तीस से अधिक श्रम कानूनों को निलंबित करते हुए श्रम कानूनों के अध्यादेश से उत्तर प्रदेश को अस्थायी छूट दी है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में कहा था कि उत्तर प्रदेश नए निवेशों, खासकर चीन से निवेश को आकर्षित करने के लिए श्रम कानूनों में संशोधन करेगा।
एक सरकारी प्रवक्ता ने कहा, “कोविड-19 के प्रकोप के चलते राज्य में आर्थिक गतिविधियां बुरी तरह से प्रभावित और धीमी हो गई है। ऐसा इसलिए क्योंकि देशव्यापी लॉकडाउन के चलते व्यवसायिक व आर्थिक गतिविधियां रूक गई हैं।”
सूत्रों के मुताबिक, श्रम विभाग में 40 से अधिक प्रकार के श्रम कानून हैं, जिनमें से कुछ अब व्यर्थ हैं। अध्यादेश के तहत इनमें से लगभग आठ को बरकरार रखा जा रहा है, जिनमें 1976 का बंधुआ मजदूर अधिनियम, 1923 का कर्मचारी मुआवजा अधिनियम और 1966 का अन्य निर्माण श्रमिक अधिनियम शामिल है।
महिलाओं और बच्चों से संबंधित कानूनों के प्रावधान जैसे कि मातृत्व अधिनियम, समान पारिश्रमिक अधिनियम, बाल श्रम अधिनियम और मजदूरी भुगतान अधिनियम के धारा 5 को बरकरार रखा है, जिसके तहत प्रति माह 15,000 रुपये से कम आय वाले व्यक्ति के वेतन में कटौती नहीं की जा सकती है।
अन्य श्रम कानून, जो औद्योगिक विवादों को निपटाने, श्रमिकों व ट्रेड यूनियनों के स्वास्थ्य और काम करने की स्थिति, ठेका व प्रवासी मजदूर से संबधित है, उन्हें तीन साल तक के लिए प्रतिबंधित कर दिया गया है।
–आईएएनएस
नवीन शिक्षण पद्धतियों, अत्याधुनिक उद्यम व कौशल पाठ्यक्रम के माध्यम से, संस्थान ने अनगिनत छात्रों…
इतिहासकार प्रोफ़ेसर इम्तियाज़ अहमद ने बिहार के इतिहास पर रौशनी डालते हुए बताया कि बिहार…
अब आवेदन की तारीख 15 जुलाई से 19 जुलाई तक बढ़ा दी गई है।
पूरे दिल्ली-NCR में सर्विस शुरु करने वाला पहला ऑपरेटर बना
KBC 14 Play Along 23 September, Kaun Banega Crorepati 14, Episode 36: प्रसिद्ध डिजाइनर्स चार्ल्स…
राहुल द्रविड़ की अगुवाई में टीम इंडिया ने 1-0 से 2007 में सीरीज़ अपने नाम…