अगले हफ्ते से आयोध्या मामले की सुनवाई 1 घंटे अतिरिक्त चलेगी

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नई दिल्ली, 20 सितम्बर (आईएएनएस)| सर्वोच्च न्यायालय ने शुक्रवार को अयोध्या भूमि विवाद मामले की सुनवाई के समय में अगले हफ्ते यानी सोमवार से अतिरिक्त एक घंटे की वृद्धि करने का निर्णय लिया है। इससे पहले अदालत ने मामले में सुनवाई पूरी करने के लिए 18 अक्टूबर की समयसीमा तय की थी। सर्वोच्च न्यायालय द्वारा नियुक्त शीर्ष अदालत के पूर्व न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली मध्यस्थता समिति के किसी नतीजे पर नहीं पहुंचने के बाद प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ मामले पर रोजाना सुनवाई कर रही है।

सुनवाई के 28वें दिन, पीठ ने हिंदू और मुस्लिम पक्षों के वकीलों से कहा कि न्यायाधीशों द्वारा एक निर्णय लिया गया है कि वे सुनवाई के लिए एक घंटा समय बढ़ा सकते हैं। पीठ प्रत्येक दिन प्राय: चार बजे उठ जाती है, जोकि विभिन्न मामलों पर सुनवाई समाप्त करने का समय है। लेकिन अयोध्या मामले के लिए न्यायाधीश शाम पांच बजे तक बैठेंगे और अदालत की कार्यवाही में एक घंटा ज्यादा वक्त देंगे।


पीठ ने कहा, “हम सोमवार(23 सितंबर) से रोजाना एक घंटा अतिरिक्त बैठ सकते हैं।”

पीठ में प्रधान न्यायाधीश के अलावा न्यायमूर्ति एस.ए. बोबडे, न्यायमूर्ति डी.वाई. चंद्रचूड़, न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति एस.ए. नजीर अन्य सदस्यों के रूप में शामिल हैं।

प्रधान न्यायाधीश 17 नवंबर को सेवानिवृत्त होने वाले हैं। इसलिए अदालत ने 18 अक्टूबर या इससे पहले मामले की सभी सुनवाइयों को निपटाने के लिए समयसीमा तय की है। इसका मतलब है कि मामले के सभी पक्षों को समयसीमा के अंदर अपनी बहस पूरी करनी होगी। अदालत ने इसके साथ ही सभी पक्षों को समयसीमा का सम्मान करने और इसके अंदर बहस पूरी करने के लिए कहा है।


मामले पर निर्णय संभवत: नवंबर के मध्य तक आ सकता है।

इलाहबाद उच्च न्यायालय ने 2010 के अपने आदेश में 2.77 एकड़ के इस विवादास्पद भूमि को राम लला, निर्मोही अखाड़ा और सुन्नी वक्फ बोर्ड में बराबर-बराबर बांट दिया था।

 

(इस खबर को न्यूज्ड टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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