माले, 21 अक्टूबर (आईएएनएस)| मालदीव की शीर्ष अदालत ने हाल ही में हुए राष्ट्रपति चुनाव के परिणाम पर रविवार को अपनी मुहर लगा दी और मौजूदा राष्ट्रपति की तरफ से दाखिल चुनाव रद्द करने की याचिका खारिज कर दी।
याचिका में चुनाव आयोग पर मतदान में गड़बड़ी करने का आरोप लगाया गया था। समाचार एजेंसी एफे के अनुसार, सर्वोच्च न्यायालय की पांच सदस्यीय पीठ ने सर्वसम्मति से कहा कि 23 सितंबर को हुए मतदान में इब्राहिम मोहम्मद सोलिह को जिताने में चुनाव आयोग की किसी तरह की भूमिका का कोई साक्ष्य नहीं मिला है। इस चुनाव के साथ ही अब्दुल्ला यामीन का शासन समाप्त हो गया है।
निर्वाचित राष्ट्रपति सोलिह की प्रवक्ता मारिया दीदी ने ट्वीट किया, “हमें खुशी है कि अदालत ने सर्वसम्मति से जनता की इच्छा का सम्मान किया। मतदान में धांधली का कोई साक्ष्य नहीं है। राष्ट्रपति यामीन को सम्मान सहित हार स्वीकार कर सत्ता हस्तांतरण सुनिश्चित करना चाहिए।”
यामीन ने मतदान के अगले दिन हार स्वीकार कर ली थी, लेकिन बाद में अपनी सत्तारूढ़ प्रोग्रेसिव पार्टी ऑफ मालदीव (पीपीएम) के समर्थकों की शिकायत पर विजेता के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दाखिल कर दी थी।
उन्होंने चुनाव आयोग पर वोटों की हेराफेरी करने के लिए अदृश्य स्याही और रसायन का उपयोग करने का आरोप लगाया था।