पटना, 17 अप्रैल (आईएएनएस)| बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी के उस बयान पर राज्य के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने बुधवार को कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है, जिसमें मोदी ने कहा है कि पूर्व केंद्रीय मंत्री और चारा घोटाले में फंसे लालू प्रसाद ने अरुण जेटली से मिलकर केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) से बचाने की गुहार लगाई थी।
तेजस्वी ने कहा कि सुशील मोदी के कुतर्क पर लोग हंस रहे हैं।
तेजस्वी ने लगातार कई ट्वीट में सुशील मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश पर निशाना साधा।
तेजस्वी ने कहा, “मोदी लालू प्रसाद पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) से मिलने का आरोप लगा रहे हैं। उन्हें पता नहीं कि लालू प्रसाद ने नफरत की राजनीति को बिहार में पांव पसारने नहीं दिया। आडवाणी की उन्मादी यात्रा को रोका। 15 वर्ष में एक भी दंगा नहीं होने दिया।”
एक अन्य ट्वीट में तेजस्वी ने कहा, “नीतीश जी संघ की गोद में लेटे दूध पी रहे हैं। बिहार में संघ के असल जन्मदाता नीतीश जी हैं। संघियों ने पलटी मारने के छह महीने बाद इनको दूध पिलाना बंद किया तो फिर लालू जी की शरण में आना चाहते थे।”
बिहार के उपमुख्यमंत्री और भाजपा नेता सुशील मोदी ने बुधवार को यहां खुलासा किया कि राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद ने चारा घोटाला मामले में मदद के लिए केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली से मुलाकात की थी और कहा था कि अगर उन्हें मदद मिलती है तो 24 घंटे के अंदर वह नीतीश कुमार का ‘इलाज’ कर देंगे।
मोदी ने कहा, “झारखंड उच्च न्यायालय ने चारा घोटाला मामले में फंसे लालू प्रसाद के पक्ष में तब फैसला सुनाते हुए कहा कि था कि इस घोटाले से जुड़े अन्य मामलों में सुनवाई की जरूरत नहीं है, क्योंकि सभी मामले एक तरह के हैं। इसके बाद केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) इस फैसले के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय गई थी।”
मोदी ने कहा, “लालू प्रसाद ने इसके बाद अपने दूत प्रेमचंद गुप्ता को भाजपा नेता अरुण जेटली के पास भेजा और मदद मांगी।”