कोरोना वायरस के चलते देशभर में लॉकडाउन का तीसरा चरण लागू है। सरकार और प्रशासन लोगों से लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का सख्ती से पालन करवाने के लिए हर मुमकिन प्रयास कर रहा हैं। लॉकडाउन के दौरान देश के कई हिस्सों से सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाने वाले मामले सामने आए। कई बार पुराने वीडियो और फेक न्यूज़ फैलाकर डालकर सांप्रदायिक सौहार्द्र को बिगाड़ने की कोशिश की गई। दिल्ली से बीजेपी सांसद प्रवेश साहिब सिंह वर्मा ने भी ऐसा ही कुछ किया। फिर पुलिस ने सांसद महोदय को पूरी विनम्रता से हड़काते हुए अफवाह नहीं फैलाने की गुजारिश की।
दरअसल, पश्चिम दिल्ली के बीजेपी सांसद प्रवेश वर्मा ने गुरुवार को ट्विटर पर एक वीडियो डाला। इस वीडियो में मुस्लिम लोग बड़ी संख्या में एकसाथ नमाज पढ़ते नज़र आ रहे हैं। वीडियो के साथ कैप्शन में प्रवेश वर्मा ने लिखा, “कोई भी धर्म कोरोना वायरस के चलते इन हरकतों की इजाज़त देता है? लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग की पूर्ण तरह से धज्जियाँ उड़ा दीं। जिन मौलवियों की तनख्वाहें बढ़ा रहे थे @ArvindKejriwal, उनकी तनख्वाहें काट दो ये हरकतें अपने आप रुक जाएंगी या आपने दिल्ली को नष्ट करने की कसम खा ली है?!”
बीजेपी सांसद के इस ट्वीट में कही गई बात का दिल्ली पुलिस ने खंडन किया। पूर्वी दिल्ली के डीसीपी ने प्रवेश वर्मा द्वारा दी गई जानकारी को गलत बताते हुए लिखा, “ये पूरी तरह गलत है। एक पुराने वीडियो को बदनीयत से अफवाह फैलाने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है। कृपया पोस्ट करने और अफवाह फैलाने से पहले सत्यापन (वेरीफाई) कर लें।” हालाँकि, थोड़ी देर बाद डीसीपी ईस्ट दिल्ली के आधिकारिक हैंडल से किया गया यह ट्वीट हटा लिया गया। नीचे उसका स्क्रीनशॉट डाला गया है।
वैसे पुलिस ने वही वीडियो डालने के लिए दूसरे लोगों को सेम टू सेम रिप्लाई किया है। उदाहरण के लिए-
This is totally false. An old video is being used with a malicious intent to spread rumour.
Please verify before posting and spreading rumours.
— DCP East Delhi (@DCPEastDelhi) May 15, 2020
बता दें कि प्रवेश वर्मा द्वारा साझा किया गया वीडियो हाल के दिनों में सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुआ है। इसे दिल्ली के पटपड़गंज इलाके के किसी मस्जिद का वीडियो बताकर ट्विटर और फेसबुक पर घुमाया जा रहा है। कई लोगों ने इस पुराने वीडियो को डालने के लिए बीजेपी सांसद को टोका भी, लेकिन उन्होंने अब तक न ही ये ट्वीट हटाया है, न ही किसी तरह की सफाई दी है।
गौरतलब है कि अभी मुस्लिमों का पाक महीना रमजान चल रहा है। हालाँकि, लॉकडाउन के चलते धर्मगुरुओं ने उन्हें मस्जिदों की बजाय घर में ही इबादत करने की अपील की है। लॉकडाउन के शुरूआती चरण में कुछ जगहों से नमाज पढ़ने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग की अवहेलना किये जाने की ख़बरें जरूर आई थीं।