द्रमुक पर करुणानिधि की विरासत साबित करने का दबाव : रजनीकांत

  • Follow Newsd Hindi On  

चेन्नई, 12 मार्च (आईएएनएस)| अभिनेता से राजनेता बने रजनीकांत ने गुरुवार को कहा कि उनकी पार्टी साल 2021 के चुनावों में मजबूत बुनियादी ढांचे और पैसे की ताकत वाली दो बड़ी शक्तियों का सामना करने जा रही है। संवाददाताओं को संबोधित करते हुए रजनीकांत ने कहा कि वह राजनीति में बदलाव लाना चाहते हैं। डीएमके और इसके अध्यक्ष एम.के. स्टालिन का नाम लिए बिना रजनीकांत ने कहा कि एक ओर ऐसी पार्टी है, जो 10 साल से सत्ता से बाहर है और वापसी चाहती है। वहीं दूसरी ओर सत्तारूढ़ दल एआईएडीएमके है, जिसके पास मजबूत दलगत ढांचा है और चुनाव लड़ने के लिए कुबेर जैसा धन का खजाना है।

रजनीकांत ने एआईएडीएमके की दिवंगत प्रमुख नेता जे.जयललिता और द्रमुक के दिवंगत प्रमुख करुणानिधि के बारे में इशारा करते हुए कहा कि इनके जाने के बाद दोनों ही दलों के नेतृत्व में रिक्तता आ गई है, जिसे अब भरने की जरूरत है।


रजनीकांत ने कहा, “मैं अब 71 वर्ष का हो चुका हूं। अगर यह मौका चूका तो 2026 तक मैं 76 का हो जाऊंगा, इसलिए इस नीति के पक्ष में लोगों का आंदोलन होने देना चाहिए।”

उन्होंने कहा कि राजनीति में बदलाव, शासन में बदलाव अब होना चाहिए। अगर यह अभी नहीं होगा, तो फिर कभी नहीं होगा।

 


(इस खबर को न्यूज्ड टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
(आप हमें फ़ेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम पर फ़ॉलो और यूट्यूब पर सब्सक्राइब भी कर सकते हैं.)