कोरोना संकट के बीच उत्तर प्रदेश के हरदोई से भारतीय जनता पार्टी के विधायक श्याम प्रकाश ने आरोप लगाया कि मेडिकल सामान खरीदने में अधिकारियों द्वारा भ्रष्टाचार किया जा रहा है। इस मामले के सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने एक अधिकारी को सस्पेंड कर दिया है। दरअसल, पिछले दिनों बीजेपी विधायक श्याम प्रकाश ने दावा किया कि 16 अप्रैल को उन्होंने अपनी विधायक निधि से 25 लाख रुपये की सहायता राशि कोरोना फंड में दी। इसके बाद उन्होंने स्वास्थ्य विभाग से मेडिकल सामान की खरीद में खर्च किये गए पैसों का हिसाब मांगा था।
विधायक निधि से खर्च पैसों के बारे में जानकारी नहीं मिलने के बाद बीजेपी विधायक ने पत्र लिखकर आरोप लगाया कि स्थानीय प्रशासन सामान खरीदने में भ्रष्टाचार कर रहा है। इसी मामले के बाद स्थानीय डीएम पुलकित खरे ने बताया है कि जिस मेडिकल अफसर के खिलाफ शिकायत की गई है, उसके खिलाफ जांच की जा रही है। जबकि फार्मासिस्ट जेएन तिवारी को सस्पेंड कर दिया गया है। डीएम ने मुख्य विकास अधिकारी को भी निर्देशित किया है इस वैश्विक महामारी के लिए विधायक और सांसदों द्वारा जो निधि दी गई है, उससे खरीदीजा रही दवाओं वगैरह की पूरी जानकारी जनप्रतिनिधियों को भी दी जाए।
बता दें कि बीते दिन ही पत्र लिखने के बाद बीजेपी के विधायक चर्चा में आए थे, जब उन्होंने दावा किया था कि उनके द्वारा दी गई राशि का सही इस्तेमाल नहीं हो रहा है। ऐसे में प्रशासन उनके द्वारा दिए गए 25 लाख वापस कर दे ताकि वह किसी और काम में उसका इस्तेमाल कर लें। विधायक के पत्र के बाद प्रशासन में हड़कंप मच गया।
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस के मामलों में लगातार तेजी देखने को मिल रही है। मंगलवार सुबह तक राज्य में कोरोना वायरस के कुल 1,955 मामले सामने आए हैं, जबकि करीब 31 लोगों की मौत हो चुकी है। राज्य में अबतक 335 लोग इस महामारी को मात देकर ठीक हो चुके हैं।