बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर को निकालने पर भाजपा से विचार करने की अपील की है। इसके साथ ही नीतीश ने कहा कि गांधी जी पर साध्वी के बयान को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हालांकि नीतीश ने इसे भाजपा का अंदरुनी मामला बतयाा है।
भोपाल से भाजपा प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा की ओर से गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्त बताए जाने पर घिरी भाजपा को अब बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी नसीहत दी है। भाजपा के साथ गठबंधन में शामिल नीतीश कुमार ने कहा कि साध्वी प्रज्ञा के ऐसे बयान के लिए उन्हें पार्टी से बाहर करने पर विचार करना चाहिए। पटना में मतदान करने के बाद बूथ से बाहर निकलते समय नीतीश कुमार ने पत्रकारों से बात करते हुए यह बात कही है।
नीतीश कुमार ने कहा कि गांधी जी को लेकर इस तरह के बयानों को कतई स्वीकार नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि यह भाजपा का अंदरुनी मामला है, लेकिन इस तरह के बयान के लिए उन्हें पार्टी से निकालने पर विचार करना चाहिए। इसके साथ ही उन्होंने लोकसभा चुनाव की अवधि को लेकर कहा कि इतने लंबे वक्त इलेक्शन नहीं होने चाहिए। उन्होंने कहा कि लंबे चरणों में चुनाव नहीं होने चाहिए।
लंबे चुनाव से भी नीतीश की असहमति
उन्होंने कहा कि आखिर 45 से 50 दिन तक चुनाव क्यों होने चाहिए? चुनाव के शांतिपूर्ण ढंग से निपटने को लेकर कहा कि अब तो शांति का ही दौर है, अशांति का दौर तो हमारे आने से पहले 15 साल तक था। नीतीश कुमार ने कहा कि मतदान के चरणों के बीच इतना लंबा गैप नहीं होना चाहिए। मैं सभी दलों के नेताओं को पत्र लिखकर इस बात पर आम सहमति बनाने का प्रयास करूंगा कि चुनाव कम वक्त में होने चाहिए।