नई दिल्ली| भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) द्वारा 14 आम आदमी पार्टी (आप) विधायकों के पार्टी बदलने के लिए संपर्क में होने के दावे के एक दिन बाद आम आदमी पार्टी (आप) प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से पूछा कि क्या उनके लिए लोकतंत्र का मतलब विपक्षी पार्टियों के विधायकों को खरीदना है।
केजरीवाल ने एक ट्वीट में कहा, “मोदी जी, क्या आप हर विपक्षी पार्टी के राज्य में विधायकों की खरीद कर सरकारें गिराओगे? क्या यही आपकी जनतंत्र की परिभाषा है? इस खरीद-फरोख्त के लिए पैसा कहां से लाते हो। आप ने इससे पहले भी हमारे विधायकों को खरीदने की कोशिश की। लेकिन आप के विधायकों की खरीद फरोख्त इतनी आसान नहीं है।”
मोदी जी, आप हर विपक्षी पार्टी के राज्य में MLA ख़रीद कर सरकारें गिराओगे? क्या यही आपकी जनतंत्र की परिभाषा है? और इतने MLA ख़रीदने के लिए इतना पैसा कहाँ से लाते हो?
आप लोग पहले भी कई बार हमारे MLA ख़रीदने की कोशिश कर चुके हो। AAP वालों को ख़रीदना आसान नहीं https://t.co/nEStYE3ipP
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) May 3, 2019
आप नेता मनीष सिसोदिया ने बुधवार को भाजपा पर उनके कम से कम सात विधायकों को खरीदने की कोशिश करने का आरोप लगाया। सिसोदिया ने आरोप लगाया कि लोकसभा चुनाव से पहले आप विधायकों को भगवा पार्टी में शामिल होने के लिए प्रत्येक विधायक को दस करोड़ रुपये की पेशकश की गई।
दिल्ली में हार के डर से घबराई बीजेपी ने आम आदमी पार्टी के 7 विधायकों को ख़रीदने के लिए 10-10 करोड़ का ऑफ़र दिया है.
मोदी जी आपको शोभा नहीं देता कि आप विधायक ख़रीदकर चुनाव लड़ना चाहते हैं. अरे! काम के दम पे मैदान में आइए ना.
— Manish Sisodia (@msisodia) May 1, 2019
इस आरोप पर प्रतिक्रिया देते हुए गुरुवार को भाजपा ने दावा किया कि सात नहीं बल्कि 14 आप विधायक ‘हताश’ थे और पार्टी छोड़ना चाहते थे।
इससे पहले मोदी ने एक चुनावी रैली में कहा कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस के 40 विधायक उनके संपर्क हैं और चुनाव परिणाम आने के बाद वे भाजपा में शामिल होंगे।